Thar पोस्ट, प्रयागराज । महंत की सुसाइड का मामला इन दिनों चर्चा में है। सवाल है कि आखिर महंत ने यह कदम क्यो उठाया। प्रयागराज में बाघंबरी गद्दी मठ के गेस्ट हाउस में मंगलवार को महंत नरेंद्र गिरि का शव मिला था। उनके शिष्यों के मुताबिक, महंत का शव फंदे पर लटका मिला था। एक दिन बाद उनका लिखा 11 पेज का सुसाइड नोट सामने आया है। इसमें महंत नरेंद्र गिरि ने बताया है कि आखिर किन कारणों से वे आत्महत्या करने को मजबूर हुए और अपने इस कदम के पीछे वे किसे जिम्मेदार मानते हैं।
7 बार आत्महत्या का जिक्र
महंत नरेंद्र गिरि के लिखे सुसाइड नोट में सात बार आत्महत्या शब्द का जिक्र है। उन्होंने लिखा है, मैं महंत नरेंद्र गिरि वैसे तो 13 सितंबर 2021 को आत्महत्या करने जा रहा था, लेकिन हिम्मत नहीं कर पाया। आज जब हरिद्वार से सूचना मिली कि एक-दो दिन में आनंद गिरि कम्प्यूटर के माध्यम से मोबाइल से किसी लड़की या महिला के गलत काम करते हुए मेरी फोटो लगाकर फोटो वायरल कर देगा तो मैंने सोचा कहां-कहां सफाई दूंगा, एक बार तो बदनाम हो जाऊंगा। सच्चाई तो लोगों को बाद में पता चल जाएगी, लेकिन मेरा नाम बदनाम हो जाएगा। उन्होंने लिखा, …मैं पहले ही आत्महत्या करने जा रहा था, लेकिन हिम्मत नहीं कर पा रहा था। आज मैं हिम्मत हार गया और आत्महत्या कर रहा हूं। मेरी आत्महत्या के जिम्मेदार उपरोक्त लोगों पर कार्रवाई की जाए। सुसाइड नोट देखकर लगता है कि इसे लिखने में दो अलग पेन का इस्तेमाल किया गया है। वहीं, 11 में से 10 पन्नों में तो उन्होंने आखिर में महंत नरेन्द्र गिरि लिखकर दस्तखत किए हैं, लेकिन एक पन्ने के आखिर में उन्होंने म नरेन्द्र गिरि लिखा है।