Thar पोस्ट। बीकानेर समेत अन्य सीमावर्ती इलाकों में एंटी ड्रोन सिस्टम लगेगा। बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स के विशेष महानिदेशक पश्चिम कमान सतीश एस. खंडारे ने राजस्थान के सीमावर्ती क्षेत्रों का दौरा कर सुरक्षा व्यवस्थाओं की समीक्षा की। अपने तीन दिवसीय दौरे के दौरान उन्होंने बीएसएफ अधिकारियों संग बैठक कर सीमा पर बढ़ती चुनौतियों और समाधान के उपायों पर चर्चा की। विशेष महानिदेशक खंडारे ने बीकानेर बीएसएफ सेक्टर में पत्रकारों से बातचीत के दौरान बताया कि गंगानगर सेक्टर में पहले ही एंटी-ड्रोन सिस्टम लगाया जा चुका है और अब इसे पूरे राजस्थान बॉर्डर पर लागू करने की योजना है। इसके अलावा सीमा क्षेत्रों में सीसीटीवी सर्विलांस बढ़ाया जा रहा है, जिससे किसी भी संदिग्ध गतिविधि पर त्वरित कार्रवाई की जा सके।
उन्होंने कहा कि गृहमंत्री द्वारा पुरानी सीमा फेंसिंग को बदलने की घोषणा के बाद राजस्थान में नई डिजाइन की फेंसिंग लगाई जा रही है, जो अत्याधुनिक तकनीक से लैस होगी और इसे तोड़ना या पार करना लगभग असंभव होगा। आने वाले समय में यह पूरे भारत-पाकिस्तान बॉर्डर पर लगाई जाएगी, जिससे घुसपैठ और तस्करी पर प्रभावी रोक लगेगी।
बीएसएफ द्वारा सीमावर्ती क्षेत्रों में ‘विलेज वाइब्रेंट प्रोग्राम’ और ‘सिविक एक्शन प्रोग्राम’ के तहत स्थानीय युवाओं को रोजगार और खेल गतिविधियों से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। इस पहल के तहत मैराथन जैसी विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है, ताकि युवा नशीले पदार्थों और तस्करी जैसी अवैध गतिविधियों से दूर रहें।
विशेष महानिदेशक खंडारे ने बताया कि ड्रोन गतिविधियों, तस्करी रोकथाम और घुसपैठ के संभावित खतरों को ध्यान में रखते हुए नई रणनीतियां बनाई जा रही हैं। उन्होंने कहा कि सीमा पर लगे सर्विलांस सिस्टम, नाइट विजन कैमरा, थर्मल इमेजिंग डिवाइस और अन्य तकनीकी साधनों की कार्यक्षमता को और अधिक मजबूत किया जाएगा। आईजी एम.एल. गर्ग, डीआईजी विदुर भारद्वाज (इंटेलिजेंस, फ्रंटियर हेडक्वार्टर जोधपुर), उपमहानिरीक्षक अजय लूथरा (क्षेत्रीय मुख्यालय बीकानेर), कमांडेंट नवीन मोहन शर्मा और उपसमादेष्टा महेश चंद जाट (इंटेलिजेंस) भी उपस्थित रहे।