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IMG 20230206 WA0119 बिश्नोई समाज का दुबई में अंतरराष्ट्रीय पर्यावरण सम्मेलन Bikaner Local News Portal अंतरराष्ट्रीय
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Thar पोस्ट, न्यूज।।पर्यावरण संरक्षण को अपना धर्म मानकर भारत भूमि पर पिछले साढ़े पांच सौ सालों से सेवा कर रहा बिश्नोई समाज ने पहली बार इस पर्यावरणीय संदेश को विश्व स्तर पर प्रचारित करने के लिए अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा मुकाम,जाम्भाणी साहित्य अकादमी बीकानेर, जयनारायण व्यास विश्वविद्यालय जोधपुर की गुरु जम्भेश्वर पर्यावरण संरक्षण शोधपीठ तथा गमबुक एनजीओ दुबई के तत्वावधान में दुबई में दो दिवसीय अंतरराष्ट्रीय पर्यावरण सम्मेलन आयोजित कियाअखिल भारतीय बिशनोई महासभा के सरंक्षक श्री बिशनोई रत्न चौधरी कुलदीप बिशनोई ने बताया कि सहज,सरल और सादगीपूर्ण जीवन के साथ हमें न्यूनतम सुविधाओं के साथ जीवन का अधिकतम आनंद मनाना होगा। अखिल भारतीय बिशनोई महासभा के अध्यक्ष श्री देवेंद्र जी बुड़िया ने बताया कि अगर धरती पर जीवन को बचाना है तो जीवनशैली का बिश्नोई प्रतिरूप सबसे उपयुक्त है और विश्व को इसे अपनाना चाहिए। श्री देवेंद्र जी ने यूएई सरकार से समाज के लिए पर्यावरण, व्यवसाय, रोज़गार में सहयोग आदि के लिए भी निवेदन किया । कार्यक्रम के संयोजक श्री रमेश बाबल ने बताया कि 'वैश्विक पर्यावरणीय चुनौतियाँ और बिश्नोई समाज के सिद्धांतों में समाधान' विषय पर आयोजित इस सम्मेलन में 60 उत्कृष्ट विद्वानों ने अपने शोधपत्र प्रस्तुत करते हुए समवेत स्वरों में विश्व को चेताया कि पिछले लगभग पचास सालों में प्रकृति का अंधाधुंध विनाश हुआ है, समय रहते हमने पर्यावरण संरक्षण के लिए गंभीर प्रयास नहीं किया तो धरती समस्त जीव प्रजातियां का जीवन खतरे पड़ जाएगा। जाम्भाणी साहित्य अकादमी की अध्यक्षा डॉक्टर इंद्रा जी ने बताया कि हमें धरती पर अधिक से अधिक वृक्ष लगाने होंगे, लगे हुए वृक्षों का प्राणपण से संरक्षण करना होगा। इसके लिए दुबई में भी अमर शहीद अमृतादेवी बिश्नोई पर्यावरण पार्क की स्थापना का संकल्प लिया गया और इसकी शुरुआत करते हुए खेजड़ली के शहीदों की याद में 363 खेजड़ी वृक्षों का वृक्षारोपण किया गया। फिल्म स्टार विवेक ओबेरॉय ने कहा कि बिश्नोई समाज की इस विलक्षण जीवनशैली पर फिल्में बननी चाहिए ताकि विश्व को इससे जानने का मौका मिले। आर के जी ने बताया कि हमे अपने व्यवहार में पर्यावरण सरंक्षण को लाना होगा और उसके लिए जम्भेश्वर भगवान की शिक्षाएँ बहुत सार्वभौमिक एवं महत्वपूर्ण है । श्री गुरमीत सिंह जी सोढ़ी ने कहा कि वे आगे भी हमेशा बिशनोई समाज के साथ कंधे से कंधा मिलाकर सहयोग करेंगे । सम्मापन समारोह में अति विशिष्ट मेहमान शेख माजिद राशिद अल मुअल्ला एवं उनकी टीम जिसमे डॉक्टर कबीर, हफ़ीज़ा इब्राहिम, खालिद अल बलोशी एवं अन्य सदस्य मौजूद थे । अति विशिष्ट मेहमान शेख माजिद राशिद अल मुअल्ला की तरफ़ से यह घोषणा हुई कि यूएई में बिशनोई समाज को तीन लाख एवं पचास हज़ार स्क्वायर फीट ज़मीन पौधारोपण, पर्यावरण एवं उसके सरंक्षण के लिए दी जाएगी ।विशिष्ट मेहमान गुरमीत जी राणा सोढ़ी , फ़ारूख अब्दुल्ला जी , रेणुका जी बिशनोई भूतपूर्व एमएलए, गीतांजली जी UK, संजय सिंह जी, अमिता सिंह जी, सलिल जी एमएलए, देवेंद्र जी आईपीएस, श्री महंत शिवदास जी, महंत भगवान दास जीं, आचार्य सच्चिदानंद जी, राजू जी महाराज, आचार्य कृष्णानंद जी ने अपने- अपने विचार रखे और पूरे कार्यक्रम की भूरी भूरी प्रशंसा की ।
बिशनोई महासभा के संरक्षक बिश्नोई रत्न चौधरी कुलदीप बिश्नोई, महासभा के अध्यक्ष श्री देवेन्द्र बुड़िया, उपाध्यक्ष श्री पतराम बिश्नोई, जाम्भाणी साहित्य अकादमी की अध्यक्षा डॉ इंदिरा बिश्नोई, शोधपीठ के निदेशक डॉ ओमप्रकाश बिश्नोई, सम्मेलन के संयोजक श्री रमेश बाबल ने सभी विद्वानों, प्रतिभागियों और इस सम्मेलन को सफल बनाने हेतु परिश्रम करने वाले सभी महानुभावों का धन्यवाद और आभार व्यक्त किया।


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