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IMG 20201214 WA0177 प्रशासन और डाॅक्टरों ने ठीक कर दिया सब-कुछ Bikaner Local News Portal बीकानेर अपडेट
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Tp news ‘परिवार के सभी सदस्य पाॅजिटिव आ गए। मम्मी-पापा वृद्ध होने और शूगर, ब्लड प्रेशर, हाईपर टेंशन एवं ब्रांेकाइटिस जैसी बीमारियों से ग्रसित होने के कारण उन्हें चिकित्सकों की सलाह अनुसार कोविड हाॅस्पिटल भर्ती करवा दिया। बाकी घर पर रहे। हम सभी असहाय थे, क्योंकि संक्रमित होने के कारण हम उनका ध्यान नहीं रख पा रहे थे। इस दौरान बेहद चिंतित थे कि अब क्या होगा? मम्मी-पापा कैसे हैं?लेकिन जब कभी उनसे फोन पर बात होती तो उनका आत्मविश्वास बिल्कुल घर जैसा लगता। वे हर बार यही कहते, कोविड अस्पताल में उन्हें कोई परेशानी नहीं है। दवाई से लेकर सफाई और खाने-पीने से लेकर हर एक व्यवस्था अच्छी है। यह सुनकर हम भी चिंतामुक्त हो जाते। आश्चर्य की बात यह रही कि हाॅस्पिटल में इलाज करवाकर मम्मी-पापा हमसे पहले ही नेगेटिव रिपोर्ट हो गए। अब दोनों पूर्णतया स्वस्थ हैं। निःसंदेह जिला और अस्पताल प्रशासन ने हमें बड़ी मुसीबत से निकलने में मदद की है।’
यह कहना है करणी नगर-पवनपुरी रहने वाले कांतेश आचार्य का। उन्होंने कहा कि उनका परिवार उस बुरे वक्त को कभी नहीं भूल सकता। संकट के इस दौर में जिला कलक्टर की माॅनिटरिंग और चिकित्सकों का समर्पण सराहनीय रहा। वरना कोरोना पाॅजिटिव होने के बाद मम्मी-पापा का इलाज और उनकी देखभाल, उनके लिए खाना, चाय, गर्म पानी, दवाई आदि भेजना मुश्किल था, लेकिन सभी व्यवस्थाएं कोविड अस्पताल में ही हो गई और प्रशासन द्वारा की गई इन व्यवस्थाओं ने चिंता की लकीरों को हल्का कर दिया। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण की इन प्रतिकूल परिस्थितियों में जिला प्रशासन एवं चिकित्सक अहम कड़ी के रूप में सामने आए।
कोविड अस्पताल में भर्ती रहे कांतेश के पिता रवि शंकर आचार्य ने बताया कि डाॅक्टर प्रतिदिन 10 बजे आ जाते। दोपहर और शाम को भी राउण्ड लगाते। सभी मरीजों को पूरे इतमिनान से देखते। दवाईयां और इंजेक्शंस की उपलब्धता भी प्रभावी रही। इसी कारण हाई शूगर और ब्लड प्रेशर जैसे रोग होने के बावजूद ठीक होकर लौट आया।
उनकी पत्नी तथा सेवानिवृत्त अध्यापिका भगवती देवी ने बताया कि वह ब्रोंकाइटिस, इाइपर टेंशन और यूरिन इंफेक्शन जैसी बीमारियों से ग्रसित है। कोरोना पाॅजिटिव पाए जाने के बाद एक बारगी तो उनका आत्मविश्वास डगमगा गया, लेकिन अस्पताल प्रबंधन की अच्छी व्यवस्थाओं के चलते उन्हें कोई परेशानी नहीं हुई और कुछ ही समय में वह स्वस्थ होकर घर लौट आई। उन्होंने वहां की बेहतरीन व्यवस्थाओं को इसका कारण बताया।


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