


Thar पोस्ट, बीकानेर। प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए आज विशेष न्यायाधीश पोक्सो बीकानेर ने 02 वर्षीय नाबालिग के साथ कुकर्म करने वाले आरोपी को आजीवन कारावास व 10000 अर्थ दण्ड की सजा सुनाई ।बीछवाल थानाधिकारी मनोज शर्मा ने बताया कि दिनांक 19.03.2016 को रात्री में पेमासर गाँव में 02 वर्ष की नाबालिग बच्ची को अभियुक्त छोटुराम घर से उठाकर ले जाकर श्मशान घाट में कुकर्म किया ।जिस पर तत्कालीन थानाधिकारी धीरेन्द्रसिंह उ.नि. द्वारा प्रकरण दर्ज कर अभियुक्त छौटुराम पुत्र आसुराम जाति जाट उम्र 35 वर्ष पेमासर बीकानेर को गिरफतार कर जेल भिजवाया। प्रकरण में शीघ्र अनुसंधान पूर्ण कर चालान पेश न्यायालय करवाया ।प्रकरण की गम्भीरता को देखते हुए उच्चाधिकारियो के आदेशानुसार प्रकरण को केस ऑफिसर स्कीम में लिया गया। तत्कालीन केस ऑफिसर सुमन शेखावत उनि व वर्तमान केस ऑफिसर थानाधिकारी पुलिस थाना बीछवाल मनोज कुमार शर्मा द्वारा प्रकरण में प्रभावी मोनिटरिंग कर प्रकरण के गवाहन से लगातार सम्पर्क कर उनकेे बयान करवाये। न्यायालय में प्रकरण की सुनवायी पूर्ण होने पर आज दिनांक 17.11.2021 को माननीय न्यायालय द्वारा प्रकरण में अभियुक्त छौटुराम पुत्र आसुराम जाति जाट उम्र 35 वर्ष पेमासर बीकानेर को आजीवन कारावास की सजा सुनाई तथा 10000 रूपये का अर्थ दण्ड भी लगाया गया।




अपग्रेड होगा यूरोलॉजी विभाग, किडनी ट्रांसप्लांट सुविधा का सेटअप होगा तैयार
Thar पोस्ट। सरदार पटेल मेडिकल कॉलेज से संबद्ध पीबीएम अस्पताल के यूरोलॉजी विभाग में किडनी ट्रांसप्लांट की सुविधा के लिए सेटअप तैयार होगा। इसके लिए राजस्थान रिन्यूएबल एनर्जी कॉरपोरेशन फाउंडेशन (आरईसी) द्वारा सीएसआर फंड के तहत 5 करोड 9 लाख रुपए का वित्तीय सहयोग दिया जाएगा।
जिला कलेक्टर नमित मेहता के प्रयासों से मेडिकल कालेज के यूरो साइंस सेंटर के अपग्रेडेशन के लिए आरईसी फाउंडेशन की सीएसआर गतिविधियों के तहत यह सहयोग मिलेगा। आरईसी द्वारा इसकी स्वीकृति भी जारी कर दी गई है। शीघ्र ही पीबीएम अस्पताल की राजस्थान मेडिकल रिलीफ सोसायटी (आरएमआरएस) और आरईसी फाउंडेशन के बीच इस संबंध में एमओयू हस्ताक्षर किया जाएगा। इसके बाद अपग्रेडेशन कार्य प्रारंभ हो जाएगा। ऊर्जा मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव श्री संजय मल्होत्रा का इस स्वीकृति में महत्वपूर्ण योगदान रहा।
मेडिकल कॉलेज प्राचार्य डॉ. मुकेश आर्य ने बताया कि अपग्रेडेशन के तहत मॉड्यूलर ऑपरेशन थिएटर और आईसीयू सुविधा विकसित की जाएगी। साथ ही अन्य मेडिकल उपकरणों की खरीद भी की जाएगी। इससे यूरोलॉजी विभाग द्वारा मरीजों को और अधिक बेहतर सुविधाएं दी जा सकेंगी। उन्होंने बताया कि ट्रांसप्लांट से संबंधित समूचा सेटअप विकसित होने के बाद अस्पताल प्रशासन द्वारा राज्य सरकार को बीकानेर में किडनी ट्रांसप्लांट प्रारंभ करने के लिए आवेदन किया जाएगा तथा राज्य सरकार की स्वीकृति के बाद यह सुविधा प्रारंभ हो सकेगी। उन्होंने बताया कि एमओयू के ड्राफ्ट पर कार्य किया जा रहा है।
वर्तमान में प्रदेश भर में केवल जयपुर में ही किडनी ट्रांसप्लांट की नियमित सुविधा उपलब्ध है। डॉ. आर्य ने बताया कि पीबीएम अस्पताल में यह सेटअप तैयार होने और सरकार द्वारा इसकी स्वीकृति मिलने पर संभाग सहित आसपास के जिलों के मरीजों को राहत मिलेगी तथा इन मरीजों को किडनी ट्रांसप्लांट के लिए कहीं और नहीं जाना पड़ेगा।